डीईआईटीवाई मोबाइल सेवा प्रोजेक्ट को संयुक्त राष्ट्र लोक सेवा अवॉर्ड 2014 मिला-(28-MAY-2014) C.A

| Wednesday, May 28, 2014
इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी विभाग (डीईआईटीवाई) के मोबाईल सेवा प्रोजेक्ट को 21 मई 2014 को संयुक्त राष्ट्र लोक सेवा अवॉर्ड 2014 में दूसरा स्थान प्राप्त हुआ. इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी विभाग सूचना एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय के अधीन है.
मोबाईल सेवा को श्रेणी 3 में सूचना युग में सरकार के दृष्टिकोण को बढ़ावा देने के लिए, एशियाप्रशांत क्षेत्र में दूसरा स्थान हासिल हुआ है. भारत से साल 2014 में पुरस्कार जीतना वाला यह एक मात्र प्रोजेक्ट है.
यह पुरस्कार बहुत ही अनोखा और अपनी तरह का पहला पुरस्कार है. इसे सीडैक मुंबई ने लिया. मोबाईल सेवा की पहल के प्रमुख हैं डॉ. राजेन्द्र कुमार, संयुक्त सचिव (ईगवर्नेंस), डीईआईटीवाई.
इस श्रेणी का पहला पुरस्कार रिपब्लिक ऑफ कोरिया को कोरिया स्वास्थ्य एवं कल्य़ाण सूचना सेवा के तहत उसके सोशल सिक्योरिटी इंफार्मेशन सिस्टम (एसएसआईएस) को दिया गया.
संयुक्त राष्ट्र के लोक सेवा पुरस्कार के बारे में
संयुक्त राष्ट्र का लोक सेवा पुरस्कार लोक सेवा में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सार्वजनिक सेवा में उत्कृष्टता के लिए प्रदान किया जाने वाला सबसे प्रतिष्ठित पुरस्कार है. यह रचनात्मक उपलब्धियों और लोक सेवा संस्थाओँ द्वारा विश्व में अधिक प्रभावी और जिम्मेदार लोक प्रशासन के लिए दिया जाता है. वार्षित प्रतियोगता के जरिए, संयुक्त राष्ट्र लोक सेवा पुरस्कार लोक सेवा की भूमिका, व्यावसायिकता और सार्वजनिक सेवा की दृश्यता को बढ़ावा देता है.
मोबाइल सेवा के बाले में
मोबाइल सेवा का उद्देश्य मोबाइल और टैबलेट के जरिए सरकारी सेवाएं लोगों तक पहुंचाना है. इसे मोबाइल उपकरणों के माध्यम से सार्वजनिक सेवाओं की उपलब्धता के लिए विकसित किया गया था. उसकी शुरुआत दिसंबर 2013 में हुई थी.
मोबाइल सेवा मोबाइल प्लेटफॉर्म को कॉमन ईगवर्नेंस इंफ्रास्ट्रक्चर जिसमें राज्य डाटा सेंटर्स (सडीसी), राज्यवार क्षेत्र नेटवर्क (एसडब्ल्यूएएन), राज्य और राष्ट्रीय सेवा डिलिवरी गेटवे (एसएसडीजी/ एनएसडीजी) से जोड़ कर काम करता है.


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