भारत व जापान असैन्य परमाणु सहयोग के प्रस्तावित समझौते को अंतिम रूप देने को सहमत-(20-SEP-2013) C.A

| Friday, September 20, 2013
भारत और जापान ने आपसी असैन्य परमाणु सहयोग के प्रस्तावित समझौते को अंतिम रूप जल्द देने के लिए सहमती व्यक्ति की. जापान के लिए भारतीय प्रधानमंत्री के विशेष दूत डॉ. अश्वनी कुमार की जापान के विदेश मंत्री फुमीओ कीशिदा (Fumio Kishida) का साथ 19 सितंबर 2013 को जापान की राजधानी टोकियो में हुई बैठक के दौरान दोनो देशों के बीच इस समझौते को शीघ्र अंतिम रूप देने को लेकर सहमति व्यक्त की गयी.
दोनो प्रतिनिधियों की महत्वपूर्ण बैठक के दौरान दोनों देशों के बीच रक्षा सहयोग के क्षेत्र में महत्वपूर्ण भागीदारी के साथ-साथ अब तक की प्रगति की समीक्षा भी गयी. यह बैठक इसलिए महत्वपूर्ण है क्योंकि जापान के महामहिम सम्राट और साम्रागी इसी वर्ष की भारत यात्रा पर आने वाले हैं. उसके पश्चात् वार्षिक शिखर बैठक के लिए प्रधानमंत्री अबे की यात्रा आने वाले हैं.
विशेष दूत डॉ. अश्वनी कुमार की जापान के विदेश मंत्री फुमीओ कीशिदा की बैठक संबंधी अन्य तथ्य
•    दोनों प्रतिनिधियों ने भारत और जापान के बीच विशेष बहुआयामी संबंधों को और मजबूत बनाने के प्रति पूरा समर्थन व्यक्त किया.
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भारत और जापान के बीच प्रगाढ़ आर्थिक सहयोग, एशिया के निरंतर विकास के लिए अनिवार्य है.
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द्विपक्षीय मुद्रा बदल व्यवस्था को बढ़ा कर 50 अरब अमरीकी डालर करने के हाल के निर्णय, दिल्ली मुम्बई फ्रेट कॉरिडोर और दिल्ली-मुम्बई औद्योगिक कॉरिडोर परियोजनाओं पर जारी प्रगति और भारत में तीव्र गति रेल प्रणाली प्रारंभ किए जाने के संबंध में विचार-विमर्श किया गया.
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डॉ. कुमार ने समुद्री सुरक्षा, समुद्री डाकूरोध और आतंकवादरोध के क्षेत्रों सहित द्विपक्षीय रक्षा और सुरक्षा सहयोग में प्रगति का भी उल्लेख किया.
डॉ. अश्वनी कुमार ने जापान के प्रधानमंत्री अबे और संसद की विदेश मामलों की समिति के अध्यक्ष कात्सुयूकी कवई के नेतृत्व में जापानी सांसदों के समूह से भी मुलाकात की.
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डॉ. कुमार ने और अधिक जापानी कंपनियों के गतिशील भारतीय बाजार में प्रवेश और अवसंरचना के क्षेत्र में डीएफसी और डीएमआईसी परियोजनाओं का लाभ उठाने के महत्व पर बल दिया. इस संदर्भ में दोनों पक्ष, सामाजिक सुरक्षा के संबंध में द्विपक्षी सहमति बढ़ाने की आवश्यकता पर सहमत हुए जिससे एक-दूसरे देश में कार्यरत जापानी और भारतीय कंपनियों को काफी लाभ होगा.