टीवीएसएन प्रसाद समिति ने पेलेट गन के प्रयोग पर गृह सचिव राजीव महऋषि को 30 अगस्त 2016 को अपनी रिपोर्ट सौंपी.
रिपोर्ट के अनुसार यह समिति कश्मीर घाटी में पेलेट गन के उपयोग पर पूरी तरह प्रतिबंध लगाने के पक्ष में नहीं है. समिति के अनुसार इसके स्थान पर पॉलीमर, रबड़ एवं पेप्पर बुलेट का प्रयोग किया जाना चाहिए.
इस समिति का गठन पेलेट गन के विकल्प तलाशने के लिए किया गया था.
रिपोर्ट के अनुसार यह समिति कश्मीर घाटी में पेलेट गन के उपयोग पर पूरी तरह प्रतिबंध लगाने के पक्ष में नहीं है. समिति के अनुसार इसके स्थान पर पॉलीमर, रबड़ एवं पेप्पर बुलेट का प्रयोग किया जाना चाहिए.
इस समिति का गठन पेलेट गन के विकल्प तलाशने के लिए किया गया था.
समिति की सिफारिशें
• इसके अनुसार पेलेट गन का प्रयोग दुर्लभ स्थिति में करना चाहिए.
• इसके स्थान पर भीड़ को नियंत्रित करने के लिए मिर्च पाउडर के शेल्स भी इस्तेमाल किये जा सकते हैं.
• इसके अनुसार पेलारगोनिक एसिड वेनिलयल (पावा) का इस्तेमाल भी किया जा सकता है.
• लांग रेंज ध्वनिक डिवाइस (एलएआरडी) का भी प्रयोग किया जा सकता है जिससे लोगों को तेज ध्वनि से बहरा किया जा सकता है तथा भीड़ को तितर-बितर किया जा सकता है.
• इसमें कहा गया है कि आंसू गैस के गोले प्लास्टिक से बनाये जाने चाहिए ताकि यह छोड़े जाने पर पिघल जाएँ और लोग इसे उठा कर फेंक न सकें.
• समिति ने आंसू गैस को पहले से अधिक कठोर किये जाने की भी सिफारिश की.
इससे पहले 26 जुलाई 2016 को गृह मंत्रलय के संयुक्त सचिव द्वारा सात सदसीय समिति बनाई गयी थी. इस समिति का गठन हिजबुल मुजाहिदीन के कमांडर बुरहान वानी की 8 जुलाई 2016 को मौत के बाद किया गया.
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