मलाला यूसुफजई की आत्मकथा ‘आई एम मलाला’ जॉर्ज वॉशिंगटन यूनिवर्सिटी के पाठ्यक्रम में शामिल-(24-OCT-2013) C.A

| Thursday, October 24, 2013
आई एम मलाला: द गर्ल हू स्टुड अप फॉर एजुकेशन एंड वाज शॉट बाय तालिबान: मलाला यूसुफजई
मलाला यूसुफजई की आत्मकथा आई एम मलाला: द गर्ल हू स्टुड अप फॉर एजुकेशन एंड वाज शॉट बाय तालिबानको अमेरिका की जॉर्ज वॉशिंगटन यूनिवर्सिटी के पाठ्यक्रम में शामिल किए जाने का निर्णय किया गया. पाकिस्तानी की किशोरी मलाला यूसुफजई विश्व भर के लोगों के लिए प्रेरणा स्त्रोत बन गई हैं, जिसे देखते हुए जॉर्ज वॉशिंगटन यूनिवर्सिटी ने यह निर्णय किया. जॉर्ज वॉशिंगटन यूनिवर्सिटी के ग्लोबल विमिन इंस्टिट्यूट (जीडब्ल्यूआई) की निदेशक मैरी इल्सबर्ग ने 21 अक्टूबर 2013 को यह घोषणा की.
आई एम मलाला: द गर्ल हू स्टुड अप फॉर एजुकेशन एंड वाज शॉट बाय तालिबान
इस पुस्तक में मलाला यूसुफजई ने अपने जीवन के अनुभवों का उल्लेख किया है. तालिबान के हमले का शिकार होने के बाद भी मलाला यूसुफजई लड़कियों की शिक्षा को बढ़ावा देने के प्रयासों में लगी हुई हैं. इस पुस्तक में मलाला यूसुफजई के इन्हीं प्रयासों के बारे में लिखा गया है. इस पुस्तक का विमोचन लंदन में 8 अक्टूबर 2013 को  किया गया था.
मलाला यूसुफजई से संबंधित मुख्य तथ्य
तालिबान के फरमान के बावजूद लड़कियों को शिक्षित करने का अभियान चलाने के कारण अक्टूबर 2012 में स्वात घाटी के कस्बे मिंगोरा में स्कूल से लौटते वक्त मलाला यूसुफजई पर आतंकियों ने हमला किया.
अंतरराष्ट्रीय बच्चों की वकालत करने वाले समूह किड्स राइट्स फाउंडेशन ने युसुफजई को अंतरराष्ट्रीय बाल शांति पुरस्कार के लिए प्रत्याशियों में शामिल किया, वह पहली पाकिस्तानी लड़की थी जिसे इस पुरस्कार के लिए नामांकित किया गया. 
मलाला यूसुफजई को वर्ष 2013 के लिए नोबेल शांति पुरस्कार हेतु नामांकित किया गया था.
मलाला युसुफ़ज़ई का जन्म 1998 में पाकिस्तान के खैबर पख़्तूनख़्वाह प्रान्त के स्वात जिले में हुआ था.




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