भारत सरकार ने ‘क्लीन इंडिया ग्रीन इंडिया’ विषय के साथ वर्ष 2015 का कैलेंडर जारी किया-(23-DEC-2014) C.A

| Tuesday, December 23, 2014

केन्द्रीय वित्त, कोरपोरेट मामलों तथा सूचना एवं प्रसारण मंत्री अरुण जेटली ने क्लीन इंडिया ग्रीन इंडियाविषय के साथ वर्ष  2015 का कैलेंडर 17 दिसंबर 2014 को जारी किया.
भारत सरकार के कैलेंडर वर्ष 2015 ने सरकार की दो अग्रणी योजनाओं- स्वच्छ भारततथा डिजिटल इंडियाके मेल के लिए मंच प्रदान किया है. कैलेंडर में सरकारी पहलों की जानकारी देने के पारंपरिक और तकनीकी उपायों का मिश्रण है. एक ओर जहां स्वच्छ भारतमिशन को पारंपरिक तरीके से विजुवल रूप में पेश किया गया है वही कैलेंडर का मोबाइल ऐप्लीकेशन डिजिटल इंडियाके विचार को आगे ले जाने के सरकार के विजन को व्यक्त करता है.
कैलेंडर के मोबाइल ऐप से प्रधानमंत्री कार्यालय की नवीनतम ट्विट, सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय का यू-ट्यूब चैनल और पीआईबी की प्रेस विज्ञप्तियां देखी जा सकती है. यह भारत सरकार की सभी वेब साइटों के लिए एक खिडकी होने के अतिरिक्त सूचनात्मक ऐप्लीकेशन इस्तेमाल करने वालों के लिए प्लानर का काम करेगा और इस पर आकाशवाणी तथा दूरदर्शन के ताजा सामाचार उपलब्ध होंगे. मोबाइल ऐप प्रांरभ में ऐंड्रॉव्यड प्लेटफॉर्म के लिए विकसित है और बाद में इसे अन्य मोबाइल प्लेटफॉर्म पर भी उपलब्ध कराया जाएगा.

वर्ष 2015 के कैलेंडर को क्लीन इंडिया ग्रीन इंडियाविषय पर विकसित किया गया है और इसमें स्वच्छताऔर पर्यावरण विषयों पर जोर है.
 
कैलेंडर 2015 के मुख्य तथ्य 
कैलेंडर के जनवरी पन्ने पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा स्वच्छ भारत मिशन लॉंच करते हुए दिखाया गया है. 
फरवरी पन्ने पर स्वच्छ विद्यालय तथा बाल स्वच्छता अभियान का संदेश है.
मार्च पृष्ठ नदियों के संरक्षण विषय पर तैयार किया गया है. 
अप्रैल महीने का पृष्ठ स्वच्छ अस्पतालः स्वस्थ भारत विषय पर बना है. 
मई महीने का कैलेंडर भारतीय रेल के स्वच्छता अभियान को समर्पित है.
जून का कैलेंडर गंगा नदी के संरक्षण नमामि गंगेविषय पर है. 
जुलाई महीने का कैलेंडर स्वच्छ भारत आंदोलन में लोगों की सहभागिता पर है. 
अगस्त पृष्ठ का विषय गांवों की स्वच्छता है. 
सितंबर महीने का कैलेंडर स्वच्छ और नवीकरणीय ऊर्जा के स्रोत के रूप में सौर ऊर्जा पर है. 
अक्टूबर के कैलेंडर में प्रदूषण मुक्त ऊर्जा स्रोत के रूप में पवन ऊर्जा को दिखाया गया है. 
नवंबर महीने के पृष्ठ पर हिमालय श्रृंखलाओं के संरक्षण की आवश्यकता पर जोर दिया गया है. 
दिसंबर महीने के पन्ने पर वन्य जीव संरक्षण का विषय है.

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