भारत ने रूस के प्रमुख औद्योगिक मेले ‘इननोप्रोम
2016’ (INNOPROM 2016) में भागीदार देश के रूप में भाग लेने
का रूस सरकार का आमंत्रण 22 जून 2015 को
स्वीकार कर लिया. यह मेला जुलाई 2016 में रूस के हेल्दात
येकातेरिनबर्ग में आयोजित किया जाना है.
यह निमंत्रण भारत के वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
निर्मला सीतारमन और रूस के उद्योग और व्यापारमंत्री डेनिस मांतुरोव के मध्य 19 जून 2015 को सेंट पीटर्सबर्ग में आयोजित बैठक में
स्वीकार किया गया. भारत वर्ष 2015 के आखिर में मास्को में
समारोह में शामिल हो सकता है.
निर्मला सीतारमन ने 18-20 जून 2015 को आयोजित वार्षिक सेंट पीटर्सबर्ग अंतरराष्ट्रीय एवं आर्थिक मंच में भारत के शिष्टमंडल का नेतृत्व किया. इसमें भारतीय उद्योग परिसंघ के 30 सदस्य शामिल थे. इस बैठक में आपसी हितों के मुद्दों पर चर्चा की गई.
सीतारमन ने भारत और यूरेशियन इकोनोमिक यूनियन के बीच संयुक्त अध्ययन समूह की स्थापना के लिए संयुक्त वक्तव्य पर हस्ताक्षर किए.
भारत और यूरेशियन इकोनोमिक यूनियन अर्थात रूसी संघ, कजाखस्तान और बेलारूस के बीच मुक्त व्यापार समझौते की व्यावहारिकता के बारे में यह समूह एक साल के अंदर रिपोर्ट देगा.
चर्चा के मुख्य बिंदु
• भारत और रूस के मध्य द्विपक्षीय निवेश संवर्धन और संरक्षण करार के नवीकरण मुद्दे पर चर्चा.
• दोनों देश वर्ष 2025 तक 15 बिलियन अमेरिकी डॉलर के द्विपक्षीय निवेश का लक्ष्य हासिल के लिए सभी आवश्यक कदम उठाने हेतु सहमत हुए जिस पर वर्ष 2014 के वार्षिक शिखर बैठक के दौरान हस्ताक्षर किए गए थे.
• दोनों पक्षों ने इस बात पर सहमति व्यक्त की कि दोनों देशों के बीच निवेश और व्यापार के वर्तमान स्तर जो कि 11 से 13 बिलियन अमेरिकी डॉलर के मध्य है, बहुत कम है.
उन्होंने ’ग्लोबल आर्थिक संबंधों में नई पहल - यूरेशियन इकोनोमिक यूनियन’ के बारे में समूह चर्चा में भी भाग लिया.
निर्मला सीतारमन ने 18-20 जून 2015 को आयोजित वार्षिक सेंट पीटर्सबर्ग अंतरराष्ट्रीय एवं आर्थिक मंच में भारत के शिष्टमंडल का नेतृत्व किया. इसमें भारतीय उद्योग परिसंघ के 30 सदस्य शामिल थे. इस बैठक में आपसी हितों के मुद्दों पर चर्चा की गई.
सीतारमन ने भारत और यूरेशियन इकोनोमिक यूनियन के बीच संयुक्त अध्ययन समूह की स्थापना के लिए संयुक्त वक्तव्य पर हस्ताक्षर किए.
भारत और यूरेशियन इकोनोमिक यूनियन अर्थात रूसी संघ, कजाखस्तान और बेलारूस के बीच मुक्त व्यापार समझौते की व्यावहारिकता के बारे में यह समूह एक साल के अंदर रिपोर्ट देगा.
चर्चा के मुख्य बिंदु
• भारत और रूस के मध्य द्विपक्षीय निवेश संवर्धन और संरक्षण करार के नवीकरण मुद्दे पर चर्चा.
• दोनों देश वर्ष 2025 तक 15 बिलियन अमेरिकी डॉलर के द्विपक्षीय निवेश का लक्ष्य हासिल के लिए सभी आवश्यक कदम उठाने हेतु सहमत हुए जिस पर वर्ष 2014 के वार्षिक शिखर बैठक के दौरान हस्ताक्षर किए गए थे.
• दोनों पक्षों ने इस बात पर सहमति व्यक्त की कि दोनों देशों के बीच निवेश और व्यापार के वर्तमान स्तर जो कि 11 से 13 बिलियन अमेरिकी डॉलर के मध्य है, बहुत कम है.
उन्होंने ’ग्लोबल आर्थिक संबंधों में नई पहल - यूरेशियन इकोनोमिक यूनियन’ के बारे में समूह चर्चा में भी भाग लिया.
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