सरदार
वल्लभ भाई पटेल की 137वीं जयंती के मौके पर गुजरात के
मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी ने नर्मदा जिले में 'लौह पुरुष'
सरदार वल्लभ भाई पटेल के स्मारक का शिलान्यास 31 अक्टूबर 2013 को किया. इसका नाम स्टेचू ऑफ यूनिटी
रखा गया.
स्टेचू ऑफ यूनिटी से संबंधित मुख्य तथ्य
• स्टैच्यू ऑफ यूनिटी अमेरिका की स्टैच्यू ऑफ लिबर्टी (93 मीटर) से दुगनी ऊंची होनी है.
• इस प्रस्तावित प्रतिमा को एक छोटे चट्टानी द्वीप पर स्थापित किया जाना है.
• यह स्थान केवाड़िया में सरदार सरोवर बांध के सामने नर्मदा नदी के मध्य में है.
• सरदार वल्लभ भाई पटेल की यह प्रतिमा दुनिया की सबसे ऊंची मूर्ति होनी है.
• इस मूर्ति की ऊंचाई 182 मीटर होनी है और यह 5 वर्ष में लगभग 2500 करोड़ रुपये की लागत से तैयार होनी है.
• इस प्रस्तावित प्रतिमा को एक छोटे चट्टानी द्वीप पर स्थापित किया जाना है.
• यह स्थान केवाड़िया में सरदार सरोवर बांध के सामने नर्मदा नदी के मध्य में है.
• सरदार वल्लभ भाई पटेल की यह प्रतिमा दुनिया की सबसे ऊंची मूर्ति होनी है.
• इस मूर्ति की ऊंचाई 182 मीटर होनी है और यह 5 वर्ष में लगभग 2500 करोड़ रुपये की लागत से तैयार होनी है.
सरदार वल्लभ भाई पटेल से संबंधित मुख्य तथ्य
• भारत की आजादी के बाद वह देश के पहले गृह मंत्री और भारत के उप
प्रधानमंत्री थे.
• सरदार वल्लभ भाई पटेल हमारे देश के सबसे बड़े नेताओं में से एक माने जाते हैं.
• उन्होंने आज़ादी की लड़ाई में एक महत्वपूर्ण भूमिका अदा की और आज़ादी के बाद भारत के उप-प्रधानमंत्री के रूप में राजाओं और नवाबों की 500 से अधिक रियासतों को भारत में शामिल करने के काम का नेतृत्व किया.
• उनकी इच्छा शक्ति और शासन क्षमता अनोखी थीं और इसीलिए उन्हें लौह पुरुष के नाम से जाना जाता है.
• वह भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के नेताओं में से एक थे.
• उनका जन्म नाडियाड, गुजरात के एक छोटे से गांव में 31 अक्टूबर 1875 को हुआ था.
• सरदार वल्लभ भाई पटेल हमारे देश के सबसे बड़े नेताओं में से एक माने जाते हैं.
• उन्होंने आज़ादी की लड़ाई में एक महत्वपूर्ण भूमिका अदा की और आज़ादी के बाद भारत के उप-प्रधानमंत्री के रूप में राजाओं और नवाबों की 500 से अधिक रियासतों को भारत में शामिल करने के काम का नेतृत्व किया.
• उनकी इच्छा शक्ति और शासन क्षमता अनोखी थीं और इसीलिए उन्हें लौह पुरुष के नाम से जाना जाता है.
• वह भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के नेताओं में से एक थे.
• उनका जन्म नाडियाड, गुजरात के एक छोटे से गांव में 31 अक्टूबर 1875 को हुआ था.
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