ब्रिक्‍स के प्रतिस्‍पर्धा प्राधिकरणों के प्रमुखों ने दिल्‍ली समझौते पर हस्‍ताक्षर किए-(27-NOV-2013) C.A

| Wednesday, November 27, 2013
ब्राजील, रूस, भारत, चीन और दक्षिण अफ्रीका (ब्रिक्स) के प्रतिस्‍पर्धा प्राधिकरणों के प्र‍मुखों ने तीसरे ब्रिक्‍स अंतरराष्ट्रीय प्रतिस्‍पर्धा सम्‍मेलन (आईसीसी) के दौरान एक संयुक्‍त ''दिल्‍ली समझौते'' पर नई दिल्‍ली में 22 नवम्‍बर 2013 को हस्‍ताक्षर किए.

दिल्‍ली समझौते के मुख्य बिंदु 
ब्रिक्‍स प्रतिस्‍पर्धा प्राधिकरण ने प्रतिस्‍पर्धा कानून और नीति के बारे में इन देशों के प्राधिकरणों के बीच अच्‍छा संपर्क स्‍थापित करने की जरूरत पर बल.
ब्रिक्‍स प्रतिस्‍पर्धा प्राधिकरणों के बीच संबंधों में सुधार करना तथा उन्‍हें और अधिक मजबूत बनाना. 
ब्रिक्‍स प्रतिस्‍पर्धा प्राधिकरणों ने 
प्रतिस्‍पर्धा एजेंसियों के बीच तकनीकी सहयोग के लाभों को स्‍वीकार करना और प्रतिस्‍पर्धा कानूनों को मजबूती और प्रभावकारी तरीके से लागू करना. 
प्रतिस्‍पर्धा नीति के विभिन्‍न पहलुओं के बारे में विचारों का आदान-प्रदान करने की प्रतिबद्धता 
ब्रिक्‍स के प्रतिस्‍पर्धा प्राधिकरणों का समर्थन करने के लिए ब्रिक्‍स देशों की सम्‍बद्ध वेबसाइटों पर तीसरे ब्रिक्‍स आईसीसी की सामग्री के प्रकाशन की सिफारिश. 
ब्रिक्‍स के प्रतिस्‍पर्धा प्राधिकरणों ने 2015 के दौरान चौथे ब्रिक्‍स आईसीसी के आयोजन का समर्थन 

ब्रिक्स
ब्रिक्स उभरती राष्ट्रीय अर्थव्यवस्थाओं के पांच देशों का एक समूह है. इसकी स्थापना वर्ष 2009 में की गई थी. प्रारम्भ में केवल चार राष्ट्र- ब्राज़ील, रूस, भारत और चीन इसके सदस्य देश थे. वर्ष 2010 में दक्षिण अफ्रीका को शामिल कर लिया गया. दक्षिण अफ्रीका को शामिल करने के बाद इस समूह का नाम ब्रिक्स हो गया. दक्षिण अफ्रीका के शामिल किए जाने से पहले इसे "ब्रिक" के नाम से जाना जाता था.
  
रूस को छोडकर ब्रिक्स के सभी सदस्य विकासशील या नव औद्योगीकृत देश हैं जिनकी अर्थव्यवस्था तेजी से बढ़ रही है. ये राष्ट्र क्षेत्रीय और वैश्विक मामलों पर महत्वपूर्ण प्रभाव डालते हैं. वर्ष 2013 तक ब्रिक्स के पांच सम्मेलन हो गए हैं. इसमें चौथा और एक मात्र सम्मेलन वर्ष 2012 में भारत की राजधानी नई दिल्ली में आयोजित किया गया.
Who: ब्रिक्स के प्रतिस्‍पर्धा प्राधिकरण
Where: नई दिल्‍ली
What: दिल्‍ली समझौते पर हस्‍ताक्षर
When: 22 नवम्‍बर 2013


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