अध्यक्षता प्राप्त होने पर इक्वाडोर के राष्ट्रपति राफेल कोरेया ने कहा कि वे समाजिक और आर्थिक एकता का प्रसार करते रहेंगे. उन्होंने कहा कि यह तभी संभव है जब गरीबी, असमानता एवं अन्य कुरीतियों की समाप्ति होगी. इससे सभी देशों को संप्रभुता, गरिमा और शांति से रहने का अवसर प्राप्त होगा.
थाईलैंड के विदेश मंत्री डॉन प्रामुडविनई ने कहा कि वर्ष 2016 में थाईलैंड ने संयुक्त राष्ट्र द्वारा 2030 के लिए निर्धारित किये गये 17 लक्ष्यों की प्राप्ति हेतु ध्यान केन्द्रित किया. इससे विकास को बढ़ावा देने, सुशासन लाने तथा पर्यावरण की रक्षा के लिए बेहतर माहौल तैयार हो सकेगा. थाईलैंड ने बैटन इक्वाडोर को सौपते हुए यह घोषणा की.
संयुक्त राष्ट्र के वर्तमान महासचिव एंटोनियो गुतेरस ने कहा कि वे जी-77 का सम्मान करते हैं तथा इस समूह के द्वारा निर्धारित लक्ष्यों की प्राप्ति में विश्वास रखते हैं.
जी-77
जी-77 विकासशील देशों द्वारा बनाया गया एक समूह है. इसका निर्माण विभिन्न आर्थिक एवं सामाजिक लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए किया गया जिसे इन सभी देशों द्वारा संयुक्त रूप से प्राप्त किया जाना है.
जी-77 134 विकासशील देशों का संयुक्त राष्ट्र में प्रतिनिधित्व करता है, इस समूह में चीन भी शामिल है.
चीन जी-77 के साथ अधिकारिक रूप से नहीं जुड़ा है लेकिन वर्ष 1994 से राजनैतिक तथा आर्थिक सहयोग देता रहा है.
इस समूह का नाम जी-77 इसलिए रखा गया क्योंकि इसकी स्थापना के समय इसमें 77 सदस्य थे. नवम्बर 2013 तक समूह में 134 सदस्य राष्ट्र शामिल हो गये. इस समूह की स्थापना 15 जून 1964 को जिनेवा में आयोजित संयुक्त राष्ट्र ट्रेड एंड डेवलपमेंट सम्मेलन (यूएनसीटीएडी) में की गयी.
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