केंद्र सरकार द्वारा 20 जनवरी 2017 को हिन्द महासागर रिम एसोसिएशन (आईओआरए) के साथ एमएसएमई सहयोग हेतु किये गये समझौता ज्ञापन को अंतिम रूप प्रदान किया गया.
यह समझौता इस समूह के सभी पांच देशों द्वारा हस्ताक्षरित होने पर लागू होगा.
यह समझौता इस समूह के सभी पांच देशों द्वारा हस्ताक्षरित होने पर लागू होगा.
समझौता ज्ञापन के उद्देश्य
• इसका उद्देश्य विभिन्न एमएसएमई संगठनों, संस्थाओं एवं संघों के मध्य तालमेल स्थापित करना है ताकि अपने-अपने देशों में एमएसएमई विकास में लगे लोगों के बीच बेहतर संबंध स्थापित हो सकें.
• वैश्विक आपूर्ति श्रृंखला में एमएसएमई की अधिक से अधिक भागीदारी को बढ़ावा देना.
• युवा एवं महिला आर्थिक सशक्तिकरण को बढ़ावा देना.
• एमएसएमई विकास के लिए सर्वोत्तम प्रथाओं, नीतियों और कार्यक्रमों का पालन करना.
• आईओआरए फोरम के साथ सिनर्जी को बढ़ावा देना.
मुख्य बिंदु
• इस समझौता ज्ञापन के कार्यान्वयन के लिए समन्वय एजेंसी मॉरीशस में आईओआरए सचिवालय होगी.
• इस समझौता ज्ञापन से आईओआरए एमएसएमई के लिए एक उपयुक्त मंच प्राप्त होने की अपेक्षा है.
• इससे विक्रेता एवं खरीददार की बैठक, प्रतिनिधिमंडलों के दौरों तथा उपयुक्त प्रौद्योगिकी के अधिग्रहण और व्यापार और निवेश के अवसरों का पता लगाया जा सकेगा.
• इससे बाज़ार की पहुंच में वृद्धि होगी, वित्तीय सेवाओं को प्रोत्साहित किया जायेगा तथा एमएसएमई के लिए एक प्रमुख प्रतिस्पर्धी लाभ के रूप में नवाचार का समर्थन और प्रबंधन और उद्यमिता के क्षेत्र में क्षमता का निर्माण होगा
पृष्ठभूमि
इससे पहले अप्रैल 2016 में आईओआरए सदस्य राष्ट्रों के साथ एमएसएमई सहयोग हेतु एक कार्यशाला का आयोजना किया गया था. यह आयोजना दुबई में किया गया. इस कार्यशाला में 14 देशों के प्रतिभागियों ने भाग लिया था. यह देश थे - मोजाम्बिक, मेडागास्कर, श्रीलंका, दक्षिण अफ्रीका, कोमोरोस, केन्या, सेशल्स, मलेशिया, मॉरीशस, सिंगापुर, ऑस्ट्रेलिया, संयुक्त अरब अमीरात और यमन.
• इस समझौता ज्ञापन के कार्यान्वयन के लिए समन्वय एजेंसी मॉरीशस में आईओआरए सचिवालय होगी.
• इस समझौता ज्ञापन से आईओआरए एमएसएमई के लिए एक उपयुक्त मंच प्राप्त होने की अपेक्षा है.
• इससे विक्रेता एवं खरीददार की बैठक, प्रतिनिधिमंडलों के दौरों तथा उपयुक्त प्रौद्योगिकी के अधिग्रहण और व्यापार और निवेश के अवसरों का पता लगाया जा सकेगा.
• इससे बाज़ार की पहुंच में वृद्धि होगी, वित्तीय सेवाओं को प्रोत्साहित किया जायेगा तथा एमएसएमई के लिए एक प्रमुख प्रतिस्पर्धी लाभ के रूप में नवाचार का समर्थन और प्रबंधन और उद्यमिता के क्षेत्र में क्षमता का निर्माण होगा
पृष्ठभूमि
इससे पहले अप्रैल 2016 में आईओआरए सदस्य राष्ट्रों के साथ एमएसएमई सहयोग हेतु एक कार्यशाला का आयोजना किया गया था. यह आयोजना दुबई में किया गया. इस कार्यशाला में 14 देशों के प्रतिभागियों ने भाग लिया था. यह देश थे - मोजाम्बिक, मेडागास्कर, श्रीलंका, दक्षिण अफ्रीका, कोमोरोस, केन्या, सेशल्स, मलेशिया, मॉरीशस, सिंगापुर, ऑस्ट्रेलिया, संयुक्त अरब अमीरात और यमन.
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