भारतीय नौसेना ने ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल के समुद्र से जमीन पर मार करने वाले संस्करण का पहला सफल परीक्षण किया. यह मिसाइल समुद्र के अंदर से जमीन पर काफी दूर तक लक्ष्य को सफलतापूर्वक भेदने में सक्षम है.
प्रमुख तथ्य-
प्रमुख तथ्य-
- लंबी दूरी की इस मिसाइल का परीक्षण नौसेना के युद्धपोत तेग से बंगाल की खाड़ी में किया गया.
- इसके परीक्षण हेतु जमीन पर एक लक्ष्य निर्धारित किया गया, और उसे लक्षित कर मिसाईल का सफल परीक्षण किया गया.
- युद्ध की स्थिति में यह मिसाइल चीन और पाकिस्तान के कई इलाकों को अपनी जद में ले सकती है.
- पूर्व में यह मिसाइल 290 किमी तक मार कर सकती थी.
- किन्तु अब इसकी मार्क क्षमता 450 किमी तक होने की संभावना है.
- नौसेना के अनुसार, परीक्षण सफल रहा और इसके वांछित परिणाम मिले हैं.
- ब्रह्मोस मिसाइल का एंटी शिप संस्करण पहले से ही नौसेना के पास है.
भारत चुनिंदा देशों की श्रेणी में-
- इस परीक्षण के साथ ही भारत अमेरिका, चीन, रूस और ब्रिटेन जैसे उन चुनिंदा देशों की श्रेणी में शामिल हो गया है, जिनके पास ऐसी क्षमता वाली मिसाइल है.
- मिसाइल ब्रह्मोस भारत और रूस ने संयुक्त रूप से विकसित की.
- इसका पोत रोधी संस्करण पहले ही भारतीय नौसेना में शामिल किया जा चुका है.
- यह दुनिया की सबसे तेज क्रूज मिसाइल है जो ऑपरेशन में है.
- नौसेना के कोलकाता, रणवीर और तेज जैसे ज्यादातर प्रमुख युद्धपोत इस मिसाइल को दागने में सक्षम हैं.
- नौसेना के आईएनएस तेग से जमीन पर मार करने वाली ब्रह्मोस का परीक्षण किया गया.
- भारतीय नौसेना ने अभी तक ब्रह्मोस के पोत रोधी संस्करण का ही परीक्षण.
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