तीसरे चरण की विज्ञान एक्सप्रेस- जैव विविधता विशेष रेलगाड़ी (SEBS)
नई दिल्ली के सफदरजंग रेलवे स्टेशन से 28 जुलाई
2014 को रवाना हुई. इसे पर्यावरण, वन
एवं जलवायु परिवर्तन राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) प्रकाश जावडेकर ने रेलमंत्री
डी.वी. सदानंद गौड़ा एवं विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
जितेन्द्र सिंह के साथ हरी झंडी दिखाकर रवाना किया.
इस चरण में यह विशेष रेलगाड़ी 194
दिन के यात्रा में बड़ी लाईन (Broad Gauge network) से होते हुए 57 स्टेशनों पर रुकेगी. इसकी यात्रा 4
फरवरी 2014 को गुजरात के गांधीनगर में संपन्न
होगी.
विदित हो कि विज्ञान एक्सरप्रेस की वर्तमान यात्रा इसका तीसरा चरण
है. वर्ष 2012 में इस रेल के शुभारंभ से लेकर अब तक
इसने दो चरणों में कुल 114 स्टेशनों तथा 37 हजार किलोमीटर से ज्यादा की यात्रा तय की. इस रेल का प्रथम चरण विश्व
पर्यावरण दिवस के अवसर पर 5 जून 2012 को
सफदरजंग रेलवे स्टेशन, नई दिल्ली से शुरू हुआ और इसका दूसरा चरण भी 9 अप्रैल 2013
को सफदरजंग रेलवे स्टेशन से शुरू हुआ था. इस विशेष रेलगाड़ी के दो
चरणों के यात्रा के दौरान इससे लगभग 5 लाख छात्र एवं 29
हजार शिक्षक जुड़े.
विज्ञान एक्सेप्रेस- जैव विविधता विशेष रेलगाड़ी से सम्बंधित मुख्य तथ्य
विज्ञान एक्सेप्रेस- जैव विविधता विशेष रेलगाड़ी से सम्बंधित मुख्य तथ्य
• जैव विविधता विशेष रेलगाड़ी, प्रदर्शनी के माध्यम से देश की संपन्न जैव विविधता के प्रति जागरूकता और
जानकारी के संवर्धन के उद्देश्य से शुरू की गई.
• यह पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय, विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रालय एवं भारतीय रेलवे की संयुक्त महत्वापकांक्षी परियोजना है.
• यह पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय, विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रालय एवं भारतीय रेलवे की संयुक्त महत्वापकांक्षी परियोजना है.
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